खबरीलाल टाइम डेस्क : नई ट्रेन से तीर्थ पर्यटन, आर्थिक गतिविधि और क्षेत्रीय विकास को बढ़ावा मिलेगा

क्षेत्रों और संस्कृतियों के जोड़ती है देश की जीवन रेखा भारतीय रेल: वी सोमन्ना


रेल और जल शक्ति राज्यमंत्री श्री वी सोमन्ना ने तिरुपति-साईनगर शिरडी एक्सप्रेस का आज नई दिल्ली स्थित रेल भवन से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हरी झंडी दिखा कर शुभारंभ किया।

तिरुपति-साईनगर शिरडी एक्सप्रेस शुरू किए जाने से कई दूरगामी लाभ होंगे। इससे आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक और महाराष्ट्र के बीच रेल संपर्क को काफी मजबूती मिलेगी। यह श्रद्धालुओं के लिए आंध्र प्रदेश की दक्षिण तटीय पट्टी से शिरडी के लिए पहली सीधी ट्रेन सेवा है। यह ट्रेन भारत के दो प्रमुख तीर्थ स्थलों, तिरुपति और शिरडी को सीधे जोड़ कर तीर्थयात्रियों की सुविधा बढ़ाएगी। 

इस नई ट्रेन से इसके मार्ग में तीर्थ पर्यटन और आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा तथा यह क्षेत्रीय विकास में सहायक होगी। यह यात्रियों को सुरक्षित, आरामदेह और निर्बाध अंतरराज्यीय यात्रा का विकल्प मुहैया कराएगी। इससे तीर्थयात्रियों के समग्र रेल यात्रा अनुभव में वृद्धि होगी। इस साप्ताहिक ट्रेन से तीर्थयात्री निर्बाध यात्रा कर सकेंगे। ट्रेन को एक तरफ की यात्रा पूरी करने में लगभग 30 घंटों का समय लगेगा।

श्री वी सोमन्ना ने तिरुपति-साईनगर शिरडी एक्सप्रेस के शुभारंभ को चार राज्यों के श्रद्धालुओं के लिए एक ऐतिहासिक दिन बताया। उन्होंने कहा कि भारतीय रेल सिर्फ परिवहन का माध्यम नहीं है। यह देश की जीवन रेखा के रूप में क्षेत्रों और संस्कृतियों को जोड़ती भी है।

रेल और जल शक्ति राज्यमंत्री ने कहा कि अब तिरुपति और शिरडी सीधी ट्रेन सेवा से जुड़ गए हैं। यह ट्रेन नेल्लोर, गुंटूर, सिकंदराबाद, बीदर और मनमाड़ समेत 31 महत्वपूर्ण स्थानों पर रुकेगी। उन्होंने कहा कि इस ट्रेन से तीर्थ पर्यटन और कनेक्टिविटी को बढ़ावा मिलने के साथ ही इसके मार्ग और आसपास के क्षेत्रों में आर्थिक गतिविधियों को भी प्रोत्साहन मिलेगा। उन्होंने बताया कि यह ट्रेन महाराष्ट्र, उत्तर कर्नाटक और सिकंदराबाद से सीधी कनेक्टिविटी मुहैया कराएगी। अपने मार्ग में यह एक महत्वपूर्ण शैव मंदिर परली वैजनाथ को भी जोड़ेगी। 

श्री वी सोमन्ना ने कहा कि आंध्र प्रदेश में 2014 से रेल अवसंरचना में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि 2009 से 2014 तक आंध्र प्रदेश और तेलंगाना का साझा औसत रेल बजट 886 करोड़ रुपए का था। यह 11 गुना बढ़ कर 2025-26 में 9417 करोड़ रुपए का हो गया। राज्य में 93000 करोड़ रुपए से ज्यादा की परियोजनाओं पर काम जारी है। आंध्र प्रदेश में 2014 से अब तक 1580 किलोमीटर नई रेल पटरियां बिछाई गईं और 100 प्रतिशत विद्युतीकरण पूरा किया गया। राज्य में वर्तमान में 73 अमृत स्टेशन हैं। श्री सोमन्ना ने 800 फ्लाईओवरों और पुलों के निर्माण, 110 लिफ्ट और 40 एस्केलेटर लगाए जाने तथा 16 वंदे भारत (8 जोड़ी) और 6 अमृत भारत (3 जोड़ी) ट्रेन सेवाओं की शुरुआत का भी जिक्र किया।

उन्होंने बताया कि भारतीय रेलवे तिरुपति में तिरुपति अमृत स्टेशन समेत 312 करोड़ रुपए की परियोजनाओं का क्रियान्वयन कर रही है। प्रमुख जारी परियोजनाओं में तिरुपति-पकाला-कटपड़ी मार्ग पर 105 किलोमीटर का दोहरीकरण 1215 करोड़ रुपए के खर्च से किया जा रहा है। कुल 83 किलोमीटर की गुडूर-रेनिगुंटा तीसरी लाइन पर 875 करोड़ रुपए खर्च होंगे। नादिकुड़ी-श्रीकालाहस्ती 310 किलोमीटर नई लाइन पर 5900 करोड़ रुपए का खर्च आएगा। इसके अलावा, 287 किलोमीटर की विजयवाड़ा-गुडूर तीसरी लाइन पर 6235 करोड़ रुपए और 25 किलोमीटर की येरपेडु-पुडी बाईपास लाइन पर 490 करोड़ रुपए खर्च होंगे। 

आंध्र प्रदेश के सड़क और भवन तथा अवसंरचना और निवेश मंत्री श्री बीसी जनार्दन रेड्डी ने मुख्य अतिथि के तौर पर समारोह में हिस्सा लिया। इसमें उपस्थित गणमान्य व्यक्तियों में तिरुपति के सांसद डॉ मदिला गुरुमूर्ति, विधान परिषद सदस्य श्री बी कल्याण चक्रवर्ती, तिरुपति से विधानसभा सदस्य श्री ए श्रीनिवासुलु तथा तिरुमला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) बोर्ड के सदस्य श्री भानु प्रकाश रेड्डी भी शामिल थे।

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