खबरीलाल टाइम्स डेस्क : भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) ने 12.02.2025 को दूरसंचार वाणिज्यिक संचार ग्राहक वरीयता विनियम (टीसीसीसीपीआर), 2018 में संशोधन किया है, जिसमें अन्य बातों के साथ-साथ निम्नलिखित प्रावधान हैं:

  1. अब कोई भी ग्राहक स्पैम/अवांछित वाणिज्यिक संचार (यूसीसी) के बारे में स्पैम प्राप्त होने के 7 दिनों के भीतर शिकायत कर सकता है, जबकि पहले इसके लिए 3 दिन की समय सीमा थी।
  2. अपंजीकृत प्रेषकों से प्राप्त यूसीसी के विरुद्ध एक्सेस प्रदाताओं द्वारा कार्रवाई करने की समय-सीमा 30 दिन से घटाकर 5 दिन कर दी गई है।
  3. यूसीसी भेजने वालों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए उनके खिलाफ कार्रवाई करने के मानदंड को संशोधित कर और अधिक कठोर बना दिया गया है। कार्रवाई शुरू करने के लिए पहले के मानदंड ‘पिछले 7 दिनों में प्रेषक के खिलाफ 10 शिकायतें होने’ की तुलना में इसे संशोधित कर ‘पिछले 10 दिनों में प्रेषक के खिलाफ 5 शिकायतें होने’ कर दिया गया है।
ये संशोधन आधिकारिक राजपत्र में प्रकाशन की तारीख से तीस दिनों के बाद लागू होंगे, सिवाय विनियम 8, विनियम 17; विनियम 20 के उप-खंड (ए) और (बी) तथा विनियम 21 के उप-खंड (बी) के, जो आधिकारिक राजपत्र में प्रकाशन के साठ दिनों के बाद प्रभावी होंगे। इसके अलावा, ट्राई ने 13.08.2024 को अपंजीकृत प्रेषकों / अपंजीकृत टेलीमार्केटर्स (यूटीएम) के सभी दूरसंचार संसाधनों को डिस्कनेक्ट करने के निर्देश जारी किए, जिनका उपयोग स्पैम कॉल करने के लिए किया जा रहा था और ऐसे प्रेषकों को काली सूची में डाल दिया गया था।एक्सेस प्रदाताओं ने व्यापक कार्रवाइयां की हैं, जिसके कारण यूटीएम के खिलाफ शिकायतों में उल्लेखनीय कमी आई है, जो अगस्त 2024 में 1,89,419 से जनवरी 2025 में 1,34,821 हो गई है।

संचार एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री डॉ. पेम्मासनी चंद्रशेखर ने यह जानकारी आज लोकसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी।

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