खबरीलाल टाइम्स डेस्क : सांख्यिकी एवं कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) अखिल भारतीय आधार पर विभिन्न सामाजिक-आर्थिक विषयों पर बड़े पैमाने पर प्रतिदर्श सर्वेक्षण करने के लिए उत्तरदायी है। इसी क्रम में, हर पाँच साल के अंतराल में घरेलू सामाजिक उपभोग: स्वास्थ्य सर्वेक्षण आयोजित किया जाता है। इस सर्वेक्षण का उद्देश्य स्वास्थ्य क्षेत्र पर बुनियादी मात्रात्मक जानकारी उत्पन्न करना है। इसका महत्वपूर्ण घटक देश के विभिन्न क्षेत्रों में विभिन्न आयु-लिंग समूहों के बीच रुग्णता की व्यापकता दर के निर्धारण के लिए प्रासंगिक जानकारी है। इसके अलावा, सरकार द्वारा प्रदान की जाने वाली स्वास्थ्य सेवाओं के उपयोग की सीमा का मापन इस अभ्यास का अनिवार्य हिस्सा है। अस्पताल में भर्ती होने या चिकित्सा संस्थानों में भर्ती होने पर मिलने वाली चिकित्सा देखभाल पर विशेष ध्यान दिया जाता है। सर्वेक्षण में उन बीमारियों की जांच की जानी है जिनके लिए ऐसी चिकित्सा देखभाल की आवश्यकता है, सरकारी अस्पतालों का उपयोग किस हद तक किया जाता है, तथा सार्वजनिक और निजी क्षेत्रों से प्राप्त उपचार पर होने वाला व्यय, इन सभी की जांच की जानी है। विभिन्न मदों द्वारा व्यय का विभाजन इन-पेशेंट और अन्यथा प्राप्त चिकित्सा देखभाल पर होने वाले व्यय के लिए अनुमानित किया जाना है। इसके अलावा, सर्वेक्षण में प्रसव के लिए निजी और सार्वजनिक अस्पतालों के उपयोग की सीमा, होने वाला व्यय, तथा प्रसव कराने वाली महिलाओं द्वारा प्रसव-पूर्व और प्रसवोत्तर देखभाल प्राप्त करने की सीमा का भी पता लगाया जाता है। 2017-18 में आयोजित घरेलू सामाजिक उपभोग: स्वास्थ्य सर्वेक्षण की रिपोर्ट सांख्यिकी एवं कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय की वेबसाइट पर उपलब्ध है।

इसके अलावा, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय लगभग तीन वर्षों की अवधि के साथ राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण (एनएफएचएस) नामक एकीकृत सर्वेक्षण भी आयोजित करता है। सर्वेक्षण स्वास्थ्य और परिवार कल्याण और संबंधित क्षेत्रों जैसे जनसंख्या की विशेषताओं; प्रजनन क्षमता और प्रजनन संबंधी प्राथमिकताएँ; परिवार नियोजन; शिशु और बाल मृत्यु दर; मातृ एवं बाल स्वास्थ्य; पोषण; रुग्णता और स्वास्थ्य सेवा; महिला सशक्तिकरण आदि पर डेटा प्रदान करता है। राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण -5 (एनएफएचएस-5) 2019-21 के दौरान आयोजित किया गया और इसकी रिपोर्ट 2022 में जारी की गई।

यह जानकारी सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय के राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार), योजना मंत्रालय के राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) और संस्कृति मंत्रालय में राज्य मंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने आज लोकसभा में लिखित उत्तर में दी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *